कल मनाया जाएगा नाग पंचमी,इस उपाय से दूर होगा कालसर्प दोष,ऐसे प्रसन्न होंगे नाग देवता

हिंदू धर्म में सावन माह को अत्यंत पवित्र माना गया है, इस माह में भगवान शिव की पूजा की जाती है, इसी सावन में ही नाग देवता को समर्पित नाग पंचमी भी आती है। नाग पंचमी के नागराज तक्षक की पूजा करने का विधान है। माना जाता है कि इस दिन की गई पूजा सीधे नाग देव को मिलती है, उन पर नाग देवता की कृपा बरसती है और उनके कुंडली से कालसर्प दोष मिट जाता है। साथ ही धन, वैभव, सुख और समृद्धि का वास होता है। ज्योतिष में इस दिन से जुड़े कुछ उपाय के बारे में भी जानकारी दी गई है, आइए जानते हैं उन्हें…द्रिक पंचांग के मुताबिक, नाग पंचमी का पर्व हर साल सावन माह के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को मनाया जाता है। पंचमी तिथि का आरंभ 28 जुलाई की रात 11.24 बजे से हो रहा है, जो 30 जुलाई की सुबह 12.46 बजे तक रहेगी।

उदया तिथि के मुताबिक, इस बार नाग पंचमी का पर्व 29 जुलाई को मनाया जाएगा।अगर जातक की कुंडली में काल सर्प दोष हैं, तो उन्हें किसी प्राचीन और सिद्ध शिव मंदिर में नाग देवता की प्रतिमा का प्राण प्रतिष्ठा करवानी चाहिए। फिर नियमित रूप से श्रद्धा और नियमपूर्वक नाग देव की पूजा करें और उन्हें दूध अर्पित करें। ऐसा करने से कालसर्प दोष से मुक्ति मिल जाएगी।इस दिन अपने घर में नाग देव की प्रतिमा या तस्वीर लगाएं। फिर भक्ति भाव से उन्हें हल्दी, रोली, अक्षत, फूल, कच्चा दूध और घी चढ़ाएं। पूजा के बाद नाग देवता की आरती करें और अपनी मनोकामना करें। इससे जीवन की सभी बाधाएं जल्द दूर होंगी।अगर घर में तनाव बना रहता है या पति-पत्नि के संबंधों में मधुरता की कमी है, तो नाग पंचमी के दिन भगवान शिव और नाग देव की पूजा करें। पूजा के बाद एक बाल्टी पानी में फिटकरी, समुद्री नमक और गौमूत्र मिलाएं। फिर इससे पूरे घर में पोछा लगाएं। इसके बाग घर के मुख्य स्थान पर गुग्गल की धूप जलाएं। माना जाता है कि घर की निगेटिव एनर्जी दूर होगी और परिवार में सुख-शांत व आपसी प्रेम बढ़ेगा।